बेंगलुरु-कांग्रेस के वरिष्ठ नेता सिद्दरमैया ने स्पष्ट किया कि उन्होंने भारत-चीन मैत्री संघ- कर्नाटक आईसीएफए-के संगोष्ठी में भाग लेने से इनकार कर दिया था और इस पर बात हैरानी जताई कि उनका नाम कार्यक्रम के निमंत्रण पत्र पर अब भी दिखाई दे रहा है।दरअसल,इस कार्यक्रम में भाग लेने को लेकर भारतीय जनता पार्टी  ने उनकी आलोचना की है। इस कार्यक्रम के निमंत्रण पत्र पर पूर्व मुख्यमंत्री का नाम बतौर मुख्य अतिथि लिखा हुआ है। उनके साथ कांग्रेस के अन्य नेताओं का नाम भी लिखा हुआ है। ताइवान पर संगोष्ठी का विषय चीन गणराज्य के आंतरिक मामलों में अमेरिकी साम्राज्यवाद का हस्तक्षेप है।भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव सी टी रवि,भारतीय जनता युवा मोर्चा के राष्ट्रीय सचिव तजिंदर पाल सिंह बग्गा और हिंदुत्व विचारक चक्रवर्ती सुलीबेले समेत अन्य नेताओं ने इस कार्यक्रम में सिद्दरमैया तथा कांग्रेस के अन्य नेताओं के भाग लेने पर पार्टी की आलोचना की। आईसीएफए-के के महासचिव वी.भास्करन ने कहा कि बहरहाल, विवाद के बाद रविवार को कर्नाटक चित्रकला परिषद में होने वाली संगोष्ठी रद्द कर दी गई है लेकिन चीन की चित्र प्रदर्शनी निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार आयोजित होगी।सिद्दरमैया ने निमंत्रण पत्र की तस्वीर के साथ ट्वीट किया, मैंने भारत-चीन मैत्री संघ के कल यानी रविवार को होने वाले कार्यक्रम में भाग लेने के उनके निमंत्रण से इनकार कर दिया था। इससे इनकार करने के बावजूद अपना नाम देखकर हैरत हो रही है। मैंने इसमें भाग लेने से इनकार कर दिया था क्योंकि मेरी पार्टी और मेरा रुख इस कार्यक्रम के एजेंडे के खिलाफ हैं। उन्होंने निमंत्रण पत्र की पूरी तस्वीर पोस्ट नहीं की।निमंत्रण पत्र के अतिथियों में पूर्व मंत्री एच सी महादेवप्पा जैसे कांग्रेस के अन्य नेताओं के नाम भी लिखे हुए हैं। राज्यसभा सदस्य एल हनुमनथैया और पूर्वमंत्री पी जी आर सिंधिया का नाम भी वक्ताओं में शामिल है। उन्होंने भी ट्वीट किया कि उन्होंने कार्यक्रम में भाग लेने से इनकार कर दिया था क्योंकि इसका एजेंडा उनके रुख के विपरीत है।निमंत्रण के अनुसार भारत में चीन के राजदूत सुन वेइदोंग और मुंबई में चीन के महावाणिज्य दूत कोंग शिआनहुआ को इस कार्यक्रम में भाग लेना था।भाजपा नेता रवि ने ट्वीट किया, अगर किसी को शंका थी कि कांग्रेस चीन के लिए काम करती है तो इससे उनका शक दूर हो जाएगा। अगर अमेरिका, चीन के आंतरिक मामलों में दखल दे रहा है तो कांग्रेस चीन के साथ क्यों है क्या राहुल गांधी के चीन की कम्युनिस्ट पार्टी के साथ किया समझौता ज्ञापन चीन को दिए इस समर्थन के पीछे की वजह है बग्गा ने ट्वीट कर कांग्रेस को चीन का एजेंट बताया। उन्होंने कहा, हमने पहले भी राहुल गांधी के चीन के राजदूतों के साथ गोपनीय बैठक की तस्वीरें देखी हैं लेकिन यह नया और कुछ बड़ा है। कांग्रेस, चीन की एजेंट है और यह अब आधिकारिक रूप से पुष्ट हो गया है। अब आप समझ सकते हैं कि कांग्रेस क्यों हमेशा भारतीय सेना को निशाना बनाती है, क्यों टुकड़े-टुकड़े गिरोह, बाटला हाउस के आतंकवादियों और राष्ट्र विरोधियों का समर्थन करती है। वहीं, सुलीबेले ने सिद्दरमैया के स्पष्टीकरण के बाद ट्वीट किया,आखिरकार सिद्दरमैया ने अपने खिलाफ हर किसी के ट्वीट करने के बाद अपना रुख स्पष्ट किया।