नई दिल्ली- दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन ने सोमवार को विधानसभा को जानकारी देते हुए बताया कि राजधानी के सरकारी अस्पतालों और क्लीनिक में चिकित्सा कर्मियों का कोई अभाव नहीं है। बता दें कि जैन का यह बयान ऐसे समय में आया है, जब राजधानी में पिछले कुछ दिनों से कोरोना वायरस के मामलों में बढ़ोतरी देखी जा रही है। उन्होंने भाजपा के नेता और विधायक ओ पी शर्मा के सवाल के जवाब में यह कहा।
स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि औषधालयों, अस्पतालों और क्लीनिक में चिकित्सकों, नर्स, पराचिकित्सकों और गैर-चिकित्सा कर्मचारियों की कोई कमी नहीं है। सरकार ने रिक्त पड़े पदों की सूची भी जारी की है। मंत्री ने कहा कि सरकार इन पदों पर भर्ती के लिए कदम उठा रही है। सरकार से रिक्त पदों पर भर्ती के लिए उठाए जा रहे कदमों के बारे में भी सवाल किया गया।
सरकार ने विधानसभा को सूचित किया कि उसने रिक्त पदों को भरने की मांग को लेकर संघ लोक सेवा आयोग और दिल्ली अधीनस्थ सेवा चयन बोर्ड को पत्र भेजे हैं। सरकारी आंकड़ों के अनुसार, राज्य द्वारा संचालित चिकित्सा सुविधाओं में विशेषज्ञों के 1,236 स्वीकृत पद हैं और इनमें से 932 पदों पर नियमित कर्मचारियों की नियुक्ति की गई है और 43 पदों पर संविदा कर्मचारी कार्यरत हैं जबकि 261 पद खाली पड़े हैं। जनरल ड्यूटी मेडिकल ऑफिसर (जीडीएमओ) के 1,357 स्वीकृत पद हैं, जिनमें से 1,219 पद भरे जा चुके हैं, जबकि 44 पदों पर संविदा कर्मचारी कार्यरत हैं। जीडीएमओ के 84 पद खाली पड़े हैं।