नई दिल्ली- दिल्ली के बजट में व्यापारियों को राहत देने सहित अन्य मांगों को लेकर राजधानी के व्यापारियों ने दिल्ली सरकार को सुझाव भेजे हैं। दरअसल, दिल्ली सरकार का बजट सत्र 23 मार्च से शुरू होगा। इस बजट पर व्यापारियों की नजर है। चैंबर ऑफ ट्रेड एंड इंडस्ट्री ने व्यापारियों और फैक्ट्री मालिकों के साथ संवाद कर 7 सूत्रीय मांगों का ड्राफ्ट तैयार किया है, जिसे सरकार को भेज दिया गया। इस संबंध में सीटीआई चेयरमैन बृजेश गोयल ने कहा कि दिल्ली के 1200 व्यापारी संगठनों, फैक्ट्री एसोसिएशन, होटल-रेस्टोरेंट एवं बैंक्वेट एसोसिएशन सहित अन्य के सुझाव मिले हैं जिनमें से प्रमुख 7 सुझावों को दिल्ली सरकार को भेज दिया गया है। इसमें बाजारों का विकास और फंड आवंटन करना, शॉपिंग फेस्टिवल और बिजनेस फेयर आयोजित करना, ऐतिहासिक फूड हब का विकास करना, वैट एमनेस्टी स्कीम लाना, जीएसटी रजिस्ट्रेशन का सरलीकरण करना, व्यापारियों को पेंशन और हेल्थ इंश्योरेंस की सुविधा देना, इंडस्ट्रियल एरिये का विकास करना शामिल हैं। उन्होंने कहा कि दिल्ली में बहुत सारे इंडस्ट्रियल एरिया हैं। कई जगहों पर नागरिक सुविधाओं का अभाव है। कहीं पर पानी की पाइप लाइन नहीं है। लोगों को पानी खरीदकर पीना पड़ता है। सुरक्षा का मसला है। ट्रांसपोर्ट का सिस्टम ठीक नहीं है। कर्मचारियों को फैक्ट्री पहुंचने में परेशानी होती है। यहां डीटीसी की बस का प्रबंध होना चाहिए। बस डिपो नहीं है। ज्यादातर औद्योगिक क्षेत्र दिल्ली के बाहरी हिस्से में है। मेट्रो कनेक्टिविटी भी नहीं है। इसमें सुधार लाया जाए।